Kamalnath ने प्रदेश में बढ़ते महिला उत्पीड़न और दुष्कर्म के मामलों पर चिंता जताई। उन्होंने मुख्यमंत्री से महिलाओं की सुरक्षा के लिए सख्त कदम उठाने की मांग की और उच्च स्तरीय टास्क फोर्स के गठन की अपील की।
मध्यप्रदेश में महिलाओं के खिलाफ हो रहे अपराधों पर पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने गहरी चिंता जताई है। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (X) पर अपने विचार व्यक्त करते हुए राज्य में महिलाओं के प्रति बढ़ते अत्याचारों की कड़ी निंदा की है। कमलनाथ ने स्पष्ट किया कि प्रदेश की कानून व्यवस्था कमजोर हो चुकी है, जिसके कारण असामाजिक तत्व बेखौफ होकर अपराध कर रहे हैं।
Kamalnath ने की महिला उत्पीड़न और दुष्कर्म की घटनाओं पर निंदा
Kamalnath ने अपने पोस्ट में लिखा कि प्रदेश में हर रोज़ महिलाओं के साथ दुष्कर्म और उत्पीड़न की घटनाएं सामने आ रही हैं। खासतौर पर बच्चियों के साथ हो रहे कुकृत्य के मामले समाज की नैतिकता को शर्मसार कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश का कोई भी इलाका ऐसा नहीं बचा है जहां बेटियां और महिलाएं सुरक्षित महसूस कर सकें।
कमलनाथ ने इस बात पर दुख व्यक्त किया कि महिलाओं के प्रति बढ़ते अपराधों के बावजूद सरकार की तरफ से कोई ठोस कदम नहीं उठाए जा रहे हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री मोहन यादव और उनकी सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि प्रदेश में महिलाओं की सुरक्षा के लिए कोई ठोस योजना नहीं बनाई गई है।
कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल
Kamalnath ने प्रदेश की कानून व्यवस्था पर भी सवाल उठाते हुए कहा कि अगर किसी राज्य में कानून व्यवस्था ठीक होती है तो असामाजिक तत्वों में डर होता है और वे अपराध करने से पहले कई बार सोचते हैं। लेकिन उन्होंने दावा किया कि मध्यप्रदेश में अब ऐसा कोई भय नहीं रह गया है, जिसके कारण अपराधी बेखौफ होकर महिलाओं के खिलाफ जघन्य अपराधों को अंजाम दे रहे हैं।
मुख्यमंत्री से की सख्त कार्रवाई की मांग
पूर्व मुख्यमंत्री ने इस गंभीर स्थिति से निपटने के लिए मुख्यमंत्री मोहन यादव से कई सुझाव दिए हैं। उन्होंने मांग की कि महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए तुरंत एक उच्च स्तरीय टास्क फोर्स का गठन किया जाए। इसके साथ ही, पुलिसकर्मियों को महिला अपराधों से निपटने के लिए विशेष प्रशिक्षण दिया जाए, ताकि वे ऐसे मामलों में अधिक संवेदनशील और कुशल हो सकें।
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स्कूलों में सुरक्षा के लिए विशेष कैंप की अपील
Kamalnath ने इस बात पर भी जोर दिया कि स्कूलों में विशेष कैंप आयोजित किए जाने चाहिए, जहां बेटियों को आत्मरक्षा के उपायों के बारे में जागरूक किया जाए। उन्होंने कहा कि बेटियों को उनकी सुरक्षा के बारे में सजग और सतर्क करना बहुत जरूरी है, ताकि वे खुद को सुरक्षित रख सकें और किसी भी आपात स्थिति में सही कदम उठा सकें।
महिला सुरक्षा के लिए ठोस नीति की आवश्यकता
Kamalnath ने इस बात पर जोर दिया कि महिलाओं की सुरक्षा के लिए एक मजबूत और प्रभावी नीति की आवश्यकता है। उन्होंने यह भी कहा कि केवल कानून बनाने से समस्या का समाधान नहीं हो सकता, बल्कि उन कानूनों का सख्ती से पालन होना चाहिए। इसके साथ ही, सरकार को यह सुनिश्चित करना होगा कि पुलिस और प्रशासन महिलाओं के प्रति हो रहे अपराधों को गंभीरता से लें और त्वरित कार्रवाई करें।
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समाज में जागरूकता फैलाने की अपील
Kamalnath ने समाज के सभी वर्गों से भी अपील की कि वे महिलाओं की सुरक्षा के प्रति जागरूक रहें और उन्हें आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने में सहयोग करें। उन्होंने कहा कि यह केवल सरकार की जिम्मेदारी नहीं है, बल्कि समाज के प्रत्येक व्यक्ति का दायित्व है कि वह महिलाओं के प्रति आदर और सम्मान की भावना को बढ़ावा दे।
सरकार की उदासीनता पर सवाल
Kamalnath ने यह भी आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री मोहन यादव की सरकार महिलाओं की सुरक्षा के प्रति उदासीन रही है। उन्होंने कहा कि राज्य में अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई न होने के कारण अपराधियों का मनोबल बढ़ा है और वे बेखौफ होकर अपने अपराध को अंजाम दे रहे हैं।
जनता से अपील: अपनी आवाज़ उठाएं
Kamalnath ने प्रदेश की जनता से भी अपील की कि वे महिलाओं की सुरक्षा के मुद्दे पर अपनी आवाज़ उठाएं और सरकार से कड़ी कार्रवाई की मांग करें। उन्होंने कहा कि जब तक जनता इन गंभीर मुद्दों पर सरकार से जवाबदेही नहीं मांगेगी, तब तक बदलाव संभव नहीं है।
प्रदेश में हर रोज़ सामने आ रही महिला उत्पीड़न और दुष्कर्म की घटनाएँ अत्यंत निंदनीय हैं। छोटी-छोटी बच्चियों के साथ हो रहे कुकृत्य के समाचार अख़बारों में पढ़कर सिर शर्म से झुक जाता है।
— Kamal Nath (@OfficeOfKNath) September 27, 2024
प्रदेश का कोई इलाक़ा ऐसा नहीं है जहाँ बेटियां और महिलाएँ ख़ुद को सुरक्षित महसूस कर सकें। इससे भी…
निष्कर्ष
मध्यप्रदेश में महिलाओं के प्रति बढ़ते अपराध एक गंभीर समस्या बन गए हैं, और इस पर पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने अपनी गहरी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने कानून व्यवस्था की खामियों को उजागर करते हुए सरकार से तुरंत ठोस कदम उठाने की मांग की है। कमलनाथ का मानना है कि महिला सुरक्षा के लिए केवल बयानबाजी से कुछ नहीं होगा, बल्कि एक मजबूत और प्रभावी नीति की जरूरत है। समाज और सरकार दोनों को मिलकर महिलाओं की सुरक्षा और सशक्तिकरण के लिए ठोस प्रयास करने होंगे।
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FAQs
1.Kamalnath ने किस मुद्दे पर चिंता जताई है?
कमलनाथ ने मध्यप्रदेश में बढ़ते महिला उत्पीड़न और दुष्कर्म की घटनाओं पर गहरी चिंता जताई है और कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए हैं।
2. Kamalnath ने महिला सुरक्षा के लिए क्या सुझाव दिए हैं?
कमलनाथ ने महिला सुरक्षा के लिए उच्च स्तरीय टास्क फोर्स के गठन, पुलिसकर्मियों को विशेष प्रशिक्षण देने और स्कूलों में बेटियों को आत्मरक्षा के उपाय सिखाने के लिए विशेष कैंप की अपील की है।
3. कमलनाथ ने कानून व्यवस्था पर क्या कहा?
कमलनाथ ने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था का डर खत्म हो चुका है और अपराधी बेखौफ होकर महिलाओं के खिलाफ अपराध कर रहे हैं।
4. क्या कमलनाथ ने सरकार पर कोई आरोप लगाए हैं?
हां, कमलनाथ ने मुख्यमंत्री मोहन यादव और उनकी सरकार पर महिलाओं की सुरक्षा के लिए कोई ठोस कदम न उठाने का आरोप लगाया है।
5. कमलनाथ ने जनता से क्या अपील की है?
कमलनाथ ने प्रदेश की जनता से अपील की है कि वे महिलाओं की सुरक्षा के मुद्दे पर सरकार से जवाबदेही मांगें और अपनी आवाज उठाएं।